पाकिस्तान में इस आशय की चर्चा है कि सरकार द्वारा कोरोना वायरस के मामलों को दबाने का प्रयास किया जा रहा है। आरोप यह लगाया जा रहा है कि देश में इस समय चल रही क्रिकेट की पाकिस्तान सुपर लीग (पीएसएल) के कारण खास तौर से मामलों को दबाने का प्रयास किया जा रहा है ताकि इसके आयोजन पर असर नहीं पड़े। लेकिन, सरकार ने इन आरोपों को सिरे से गलत करार दिया है।
पाकिस्तानी मीडिया में प्रकाशित रिपोर्ट के अनुसार, पाकिस्तान के प्रधानमंत्री के स्वास्थ्य मामलों के सलाहकार डॉ. जफर मिर्जा ने बुधवार को इन आरोपों को गलत बताया कि देश में कोरोना वायरस के मामलों को, विशेषकर पीएसएल के कारण, कम करके बताया जा रहा है।
पीएसएल 20 फरवरी से शुरू हुई है और यह 22 मार्च तक चलेगी।
मिर्जा से संवाददाताओं ने कहा कि इस आशय की चर्चाएं हैं कि देश में कोरोना वायरस के मामलों की संख्या वास्तव में ढाई सौ से कम नहीं है। इस पर मिर्जा ने कहा, “यह बात 100 फीसदी गलत है। सच तो यह है कि 200 फीसदी गलत है।”
उन्होंने कहा कि पाकिस्तान में अब तक इस घातक बीमारी के पांच मरीजों की पुष्टि हुई है। किसी को भी फ्लू हो जाए या सामान्य खांसी आ जाए तो उसे कोरोना वायरस नहीं मान लेना चाहिए। अगर हर छोटी-छोटी बीमारी पर कोरोना वायरस की चिंता जताने लगेंगे तो देश में दहशत फैल जाएगी।
मिर्जा ने कहा कि सरकार के प्रयासों से महामारी देश में अधिक नहीं फैली है। संघ और राज्यों के बीच अच्छा तालमेल बना हुआ है।
उन्होंने कहा, “हम सामान्य कदम उठा रहे हैं और इनके बहुत अच्छे नतीजे सामने आ रहा है। हमें बदतरीन हालात के लिए तैयारी करनी चाहिए लेकिन उम्मीद सब कुछ अच्छा होने की करनी चाहिए।”